यूपी में भारी बारिश और आंधी का खतरा: मेरठ, गाज़ियाबाद समेत 34 जिलों में रेड अलर्ट

यूपी में मौसम का बिगड़ता मिजाज: 34 जिलों में भारी बारिश का रेड अलर्ट
उत्तर प्रदेश में मई महीने की शुरुआत जहां भीषण गर्मी और लू से हुई थी, वहीं अब मौसम ने अचानक करवट बदल ली है. भारतीय मौसम विभाग (IMD) ने 19 मई से 23 मई 2025 के बीच प्रदेश के 34 जिलों में भारी बारिश, तेज आंधी तूफान और 50-60 किमी/घंटा की तेज हवाओं का रेड अलर्ट जारी किया है. जिन जिलों में ये चेतावनी दी गई है, उनमें मेरठ, गाजियाबाद, सीतापुर, बरेली, आगरा, सहारनपुर से लेकर पूर्वी यूपी के जिलों तक शामिल हैं. इस अलर्ट से पहले हाल ही में प्रदेश के कई इलाकों में ओलावृष्टि और तेज हवाओं से फसलों, बिजली के पोल और मकानों को नुकसान हुआ था.
मौसम विभाग और राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (NDMA) के मुताबिक, अगले कुछ दिनों में प्रदेश के इन जिलों में अचानक तेज़ हवाओं के साथ जोरदार बारिश हो सकती है. कई जगहों पर बिजली भी चमकने का अनुमान है, जिससे जन-जीवन प्रभावित हो सकता है. लोगों को सलाह दी गई है कि वे मौसम की ताजा जानकारी पर नजर रखें और अनावश्यक बाहर न निकलें. खासकर उन इलाकों में, जहां जलभराव या पेड़ गिरने का खतरा हो सकता है.

फसलों की बर्बादी से सतर्कता की जरूरत
बीते दिनों मई की शुरुआत में यूपी और उत्तराखंड के कुछ हिस्सों में तेज ओलावृष्टि हुई थी. कई जगहों पर गेहूं, आम, सब्जियों और दूसरी फसलों को भारी नुकसान पहुंचा. वहीं, बिजली गिरने और तेज हवा से कई इलाकों में घरों और बिजली-पानी की लाइनें भी प्रभावित रहीं. अब एक बार फिर मौसम में परिवर्तन के संकेत से किसानों और आम लोगों के सामने नई चुनौती खड़ी हो गई है.
IMD प्रशासन ने जिले स्तर पर अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि सभी राहत दल और संसाधन तैयार रखें. सड़कों पर जलभराव, जगह-जगह पेड़ गिरने या बिजली के तार टूटने की स्थिति में तुरंत कार्रवाई सुनिश्चित करें. वहीं, ग्रामीण इलाकों में लोगों को खेतों और खुले स्थानों पर जाने से बचने की सलाह दी जा रही है.
- ट्रैफिक पुलिस ने भी ड्राइवरों से सावधानीपूर्वक गाड़ी चलाने की अपील की है.
- बिजली विभाग ने मानसून के पहले ही जर्जर तारों और पोल की जांच का आदेश जारी किया है.
- स्कूलों को जरूरत पड़ने पर छुट्टी घोषित करने को कहा गया है.
दूसरी ओर, शहरों में पानी भरने की आशंका से नगर निगम पानी निकासी के सिस्टम की सफाई करने में जुट गया है. अधिकारी लगातार चेतावनी जारी कर रहे हैं कि बारिश के दौरान किसी भी तरह की लापरवाही भारी पड़ सकती है. पिछले साल प्रदेश के कई जिलों में महज कुछ घंटों की बारिश ने आम जनजीवन अस्त-व्यस्त कर दिया था—इस बार हालात दोहराने से रोकना प्रशासन के लिए बड़ी चुनौती है.
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